नालंदा: देशभर में मत्स्य पालन को बढ़ावा देने के उद्देश्य से केंद्र सरकार द्वारा प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना चलाई जा रही है। इस योजना के तहत मत्स्य पालकों और मछुआरों को आर्थिक मदद और प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इस योजना से न केवल युवा पीढ़ी को रोजगार मिल रहा है, बल्कि ग्रामीण क्षेत्रों में आत्मनिर्भरता का नया अध्याय भी लिखा जा रहा है। बिहार राज्य मत्स्यजीवी सहकारी संघ के निदेशक शिवनंदन प्रसाद ने बताया कि यह योजना मत्स्य पालकों के लिए बेहद लाभकारी सिद्ध हो रही है। इसके अंतर्गत तालाबों के निर्माण, पुराने तालाबों के जीर्णोद्धार, मछली पालन सामग्री, जैसे मछली के भोजन, दवाओं और एयरेटर मशीनों पर 50% तक की सब्सिडी दी जा रही है। इसके अतिरिक्त मोटर पंप जैसी तकनीकी सुविधाएं भी प्रदान की जा रही हैं। नालंदा जिले के लाभार्थी उदय कुमार ने अपनी कहानी साझा करते हुए कहा कि हमने प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के तहत प्रशिक्षण लिया और इसके बाद मछली पालन का काम शुरू किया। उदय कुमार ने बताया कि इस योजना की मदद से वे सालाना डेढ़ से दो लाख रुपये तक की कमाई कर रहे हैं। शिवनंदन प्रसाद और उदय कुमार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री का धन्यवाद करते हुए कहा कि इस योजना ने गरीबों और बेरोजगारों के जीवन में बड़ा बदलाव लाया है।
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