मथुरा: धर्माचार्य पूरण प्रकाश जी महाराज ने भाई दूज के पर्व के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि पौराणिक कथाओं के अनुसार धर्मराज और यमुना जी दोनों भाई-बहन हैं। जो भी भाई-बहन भाई दूज के पर्व पर यमुना जी में डुबकी लगाते हैं उनके सारे पाप धूल जाते हैं। कथा के अनुसार, एक दिन जब बहन यमुना ने भाई यमराज को गोलोक में भोजन के लिए बुलाया, तब बहन के घर जाने से यम ने नरक के निवासियों को मुक्त कर दिया था, इसलिए तब से ही भाई दूज मनाया जाने लगा। वहीं दूसरी कथा के अनुसार, भगवान कृष्ण राक्षस नरकासुर का हराने के बाद अपनी बहन सुभद्रा से मिलने गए थे, तभी से इस दिन को भाई दूज के रूप में मनाया जाता है।