बाजार में मॉडल व फैंसी राखियां आ जाने से अब पन्नी की राखियों का जमाना लद गया। दो दशक पूर्व तक नैनवां कस्बे के कई परिवार पन्नी की राखी बनाने काम किया करते थे।