कोरोना महामारी के चलते ताज का दीदार नहीं कर पा रहे पर्यटकों को संस्कृति मंत्रालय ने बड़ी राहत दी है। इससे न केवल पर्यटकों को फायदा होगा, बल्कि कोरोना संक्रमण काल में ठप पड़े आगरा के पर्यटन उद्योग को भी राहत मिलेगी। बता दें कि संस्कृति मंत्रालय के आदेश पर भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग और जिला प्रशासन ने ताज के दीदार के लिए टिकटों की संख्या बढ़ाकर दोगुनी कर दी है। नई व्यवस्था के तहत अब 10 हजार पर्यटक रोजाना ताज का दीदार कर सकते हैं। इससे पहले यह संख्या सिर्फ 5 हजार थी। वहीं, आगरा किला देखने वालों की संख्या भी 2500 से बढ़ाते हुए 4 हजार कर दी है।
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दरअसल, कोरोना महामारी के कारण लगाए गए लॉकडाउन में आगरा का पर्यटन उद्योग ठप हो गया था। इसके बाद शुरू हुए अनलॉक में कोरोना गाइडलाइन के तहत रोजाना 5 हजार ऑनलाइन टिकट बुक किए जा रहे थे। टिकटों की संख्या सीमित होने से हजारों पर्यटकों को आगरा से निराश लौटना पड़ रहा था। लेकिन, अब आर्थिक व्यवस्था को पटरी पर लाने के लिए सरकार प्रयासरत है। यही कारण है कि संस्कृति मंत्रालय की तरफ से जारी आदेश में ताज का दीदार करने आने वाले पर्यटकों के टिकटों की संख्या को 5 हजार से बढ़ाकर सीधे 10 हजार कर दिया गया है। नई व्यवस्था लागू होते ही रविवार को 7284 टिकटों की बिक्री की गई। अब रोजाना एएसआई की ऑनलाइन टिकट बुकिंग वेबसाइट के माध्यम से सुबह के और दोपहर के स्लॉट में पांच-पांच हजार टिकटों की बुकिंग शुरू हो गई है।
पर्यटकों को ऑनलाइन ही बुक कराने होंगे टिकट
इस संबंध में एएसआई अधीक्षण पुरातत्वविद वसंत कुमार स्वर्णकार का कहना है कि संस्कृति मंत्रालय के आदेश पर ताजमहल में पर्यटकों की संख्या 10 हजार व आगरा किला में चार हजार प्रतिदिन कर दी गई है। वहीं, डीएम प्रभु एन सिंह ने बताया कि नई व्यवस्था के तहत कोई नया टिकट काउंटर नहीं खोला जा रहा है। फिलहाल ताजमहल का दीदार करने के लिए पर्यटकों को ऑनलाइन टिकट ही बुक कराने होंगे। ताजमहल और आगरा किला को छोड़कर अन्य स्मारकों पर पर्यटकों की संख्या पहले की तरह ही रहेगी।
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व्यापारियों ने जताई खुशी
ताजमहल और आगरा फोर्ट में टिकटों की संख्या बढ़ने पर ताज के नजदीक दुकान आदि लगाने वाले व्यापारी बेहद खुश हैं। उनका कहना है कि ताज पर कैपिंग बढ़ने के बाद पर्यटकों की संख्या भी बढ़ेगी, जिससे उनके ठप पड़े व्यापार में फिर से तेजी आएगी। वहीं, कोरोना काल में बेरोजगार हुए गाइडों ने भी इस निर्णय पर खुशी जताई है। इसके साथ आगरा के होटल कारोबारियों ने भी संस्कृति मंत्रालय के फैसले का स्वागत किया है। हालांकि आगरा टूरिस्ट वेलफेयर चैंबर के प्रहलाद अग्रवाल का कहना है कि वह अभी इस निर्णय से संतुष्ट नहीं हैं। आगामी क्रिसमस और न्यू ईयर को देखते हुए कम से कम 15 हजार टिकटों की संख्या तय की जानी चाहिए थी।