नवरात्रि के चौथे दिन होती है ब्रह्मांड की रचयिता माता कुष्मांडा की पूजा। Navratri Day 4 Mata Kushmanda

2020-10-19 12

Navratri Day 4 Pooja: नवरात्रि के चौथे दिन माता कुष्मांडा (Mata Kushmanda) की पूजा की जाती है। अपनी मंद, हल्की हंसी के द्वारा अण्ड यानी ब्रह्मांड को उत्पन्न करने के कारण इस देवी को कूष्मांडा नाम से अभिहित किया गया है। मान्यता है कि जब सृष्टि नहीं थी, चारों तरफ अंधकार ही अंधकार था, तब इसी देवी ने अपने ईषत्‌ हास्य से ब्रह्मांड की रचना की थी। इसीलिए इसे सृष्टि की आदिस्वरूपा या आदिशक्ति कहा गया है। इस देवी की आठ भुजाएं हैं, इसलिए अष्टभुजा कहलाईं। इनके सात हाथों में क्रमशः कमण्डल, धनुष, बाण, कमल-पुष्प, अमृतपूर्ण कलश, चक्र तथा गदा हैं। आठवें हाथ में सभी सिद्धियों और निधियों को देने वाली जप माला है।

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