अमेठी जिले की एक महिला और उसकी बेटी ने शुक्रवार शाम लखनऊ के हजरतगंज इलाके में मुख्यमंत्री कार्यालय के गेट नंबर 3 के बाहर आत्मदाह का प्रयास किया। दोनों को सिविल हॉस्पिटल में एडमिट कराया गया है। महिलाओं का आरोप है कि एक महीने से पुलिस अधिकारियों का चक्कर लगा रही हैं, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हो रही है। जानकारी के मुताबिक अमेठी के जमाई की रहने वाली पीड़ित महिला गुड़िया ने अपनी बेटी के साथ लोक भवन के बाहर अचानक अपने आप को आग लगा ली। इस दौरान मां 80% जल गई जबकि उनसकी बेटी 40% जल गई। मां की स्थिति गंभीर बताई जा रही है। आरोप है कि अमेठी में एक नाली के विवाद को लेकर दबंगों ने उनकी जमकर पिटाई कर दी। एफआईआर लिखवाने पर भी दबंगों ने थाने के बाहर और बाद में जमकर पिटाई की, और यह भी धमकी दी कि एक्सीडेंट कर देंगे और उसमें नाम डलवा देंगे। सुनवाई न होने से नाराज मां-बेटी शुक्रवार को लखनऊ पहुंचकर मुख्यमंत्री से अपनी गुहार लगाना चाह रही थीं। बताया जा रहा है कि पिछले एक महीने से मां-बेटी चक्कर लगा रही थीं। हालांकि मंत्री से मुलाकात हु, लेकिन दोनों ने लोक भवन के बाहर खुद को आग लगा ली। मौके पर पहुंची पुलिस ने दोनों को अस्पताल में एडमिट करवाया, जहां दोनों महिलाओं का इलाज चल रहा है।
इस मामले पर पूर्व मुख्यमंत्री और सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने भी योगी सरकार को घेरा है। अखिलेश ने ट्वीट किया, 'लखनऊ में लोकभवन के सामने दो महिलाओं द्वारा दबंगों के खिलाफ़ कोई कार्रवाई न होने से हताश होकर आत्मदाह करने की दुःखद ख़बर आयी है। सपा ने लोकभवन इसलिए बनवाया था कि वहां बिना भेदभाव आम जनता अपनी शिकायतों के निवारण के लिए जा सके, लेकिन इस भाजपा सरकार में गरीबों की कोई सुनवाई नहीं.'