गुरु पूर्णिमा के अवसर आज हम आपको ऐसे गुरु के बारे में बताएंगे, दिव्यांग होने के बावजूद जिनमें प्रतिभा कूट-कूटकर भरी है। उनका लक्ष्य युवाओं को काबिल बनाकर देश सेवा के लिए तैयार करना है। देश के लिए दो गोल्ड सहित 12 मेडल जीतने वाला यह अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी युवाओं का भविष्य बनाने में जुटा है। उनके द्वारा प्रशिक्षित किए गए 256 युवा अब तक सेना में नौकरी हासिल देश की सीमा की सुरक्षा कर रहे है। खास बात यह है कि यह ट्रेनिंग वह पूरी तरह निःशुल्क देते हैं। शिष्यों के बीच वह काफी आदर पाते हैं। देश के तीन-तीन मुख्यमंत्रियों ने इस खिलाड़ी को सम्मानित किया है। यूपी सरकार से राज्य पुरस्कार मिला, लेकिन इस खिलाड़ी के भविष्य के बारे में किसी ने नहीं सोचा। बात हो रही है सगड़ी तहसील क्षेत्र के सोहराभार गांव निवासी दायें हाथ के विकलांग अजय मौर्य की।