इन दिनों सोशल मीडिया पर एक विडियो वायरल हो गया है,जिसमें करॉना वायरस से जूझ रहे चीन के वुहान से एयरलिफ्ट कर भारत लाए गये छात्रों को मानेसर आर्मी कैंप में डांस कर जश्न मनाते हुए देखा जा सकता है। वुहान में करॉना वायरस की वजह से इन छात्रों को एयरलिफ्ट कर भारत लाया गया था। दूसरी तरफ पाकिस्तान है जिसके चीन में फंसे छात्र गिड़गिड़ा रहे हैं कि उनको वुहान से निकाल लिया जाए पर पाकिस्तान ने अपने ही देश के छात्रों को मरने के लिए छोड़ दिया है-वह भी तब जबकि पाकिस्तान के4छात्र पहले ही करॉना वायरस की चपेट में आ चुके हैं भारत ने31जनवरी से2फरवरी के बीच दिल्ली से एयर इंडिया की दो फ्लाइट वुहान भेजी। इन दोनों से647भारतीयों को दिल्ली लाया गया। तीन दिन के इस ऑपरेशन में78स्टाफ की स्पेशल टीम को लगाया गया था। इसमें68एयर इंडिया से और10आरएमएल,सफदरजंग हॉस्पिटल के डॉक्टर और पैरामेडिकल स्टाफ थे। दोनों दिनों में दो अलग-अलग बोइंग747जंबो प्लेन लगाए गए थे। ताकि अधिक से अधिक भारतीयों को चीन से भारत लाया जा सके।
बताया जाता है कि चीन से जितने भी भारतीयों को दिल्ली लाना था,उसमें ऐसा एक भी भारतीय नहीं था,जिसे एयर इंडिया के क्रू या डॉक्टरों ने फ्लाइट में बोर्ड कराने से मना किया हो। लेकिन दूसरी तरफ पाकिस्तान है जिसने वुहान में पढ़ रहे पाकिस्तानी छात्रों को चीन से निकालने से मना कर दिया है और इसके पीछे सबसे रोचक है वो कारण जो पाकिस्तान ने दिया है। पाकिस्तान के स्वास्थ्य मंत्री जफर मिर्जा ने बयान जारी कर इसके पीछेWHOके निर्देश का हवाला दिया है। पाकिस्तान ने कहा है कि डब्ल्यूएचओ ने सभी सदस्य देशों को मना किया है कि वे अपने देश के लोगों को वापस न ले जाएं-क्योंकि इससे पूरी दुनिया में कॉरोना वायरस पूरी दुनिया में फैल जाएगा। साथ ही पाकिस्तान के स्वास्थ्य मंत्री ने ये भी कहा है कि चीन इस वायरस से अच्छी तरह से लड़ रहा है।वहीं वुहान में फंसे हुए पाकिस्तान के छात्रों ने ही अपने देश के स्वास्थ्य मंत्री के इस बयान की पोल खोल कर रख दी है-वुहान में फंसे हुए छात्र लगातार सोशल मीडिया पर इस तरह के वीडियो डाल रहे हैं कि पाकिस्तान का मंत्री झूठ बोल रहा है और पाकिस्तान को भारत से सीखना चाहिए।#china #hospitalinchina #wuhan #Coronavirusalert #advisory #coronavirus #symptoms #CoronavirusCasesinIndia #China #Philippines #WHO #NHCअब जबकि दुनिया भर के मीडिया में पाकिस्तान की आलोचना हो रही है तो पाकिस्तानी इस्टैब्लिशमेंट कभी पाकिस्तान की खराब मेडिकल सुविधाओं का हवाला दे रहा है तो कभी इसके लिए कुरान का भी हवाला दिया जा रहा है। अब देखना होगा कि पाकिस्तान अपने चीन प्रेम को तवज्जो देता है या फिर अपने ही देश के नौनिहालों को चीन में मरने के लिए छोड़ देता है।