इंदौर की सेंट्रल जेल में एक अलग ही तरह का नजारा इन दिनों देखने को मिल रहा है। यहां सभी कैदी भक्ति में झूमते और नाचते नजर आ रहे है। दरसअल इंदौर की सेंट्रल जेल में भागवत कथा का आयोजन किया गया है, जिसे सुनने के लिए महिला बंदी और पुरुष कैदी बंदी बैठे नजर आ रहे है। जब भी भागवत कथा में कोई प्रसंग आता तो सभी जमकर झूमते और नाचते दिखाई दे रहे है।ऐसा लग रहा है मानो किसी पंडाल में भागवत गीता का आयोजन किया जा रहा हो। बता दें कि सेंट्रल जेल में तकरीबन 15 सौ से अधिक बंदी सजा काट रहे हैं, उनकी मनो दशा सुधारने के लिए और उनको अपराध की दुनिया से बाहर लाने के लिए भागवत गीता का सहारा जेल प्रबंधन द्वारा लिया जा रहा है। रोज दोपहर 2:00 से 5:00 बजे तक भागवत गीता का आयोजन किया जा रहा है। भागवत कथा में हिंदू मुस्लिम की गंगा जमुना तहजीब की परंपरा भी देखने को मिल रही है क्योंकि भागवत कथा को कई मुस्लिम कैदी भी सुन रहे हैं। प्रदेश की किसी जेल में अभी तक भागवत कथा सुनने को नहीं मिली है लेकिन इंदौर की सेंट्रल जेल में पहली बार भागवत कथा का आयोजन कैदियों के लिए किया जा रहा है जो कि काफी सराहनीय पहल है। फिलहाल भागवत कथा का असर जेल में बंद कैदियों पर किस तरह से होता है यह देखने लायक रहेगा।