दो सप्ताह से भी कम समय में विषम भौगोलिक परिस्थितियों वाली गढ़वाल लोकसभा सीट के सभी क्षेत्रों में मतदाताओं तक पहुंच पाना प्रत्याशियों के लिए आफ़त का सबब बन गया है.