saints can protest at cm yogi residence for kumb mela 2019
लखनऊ। कुंभ मेला हर 12 साल में आता है और दो बड़े कुंभ मेलों के बीच आने वाले कुंभ को अर्धकुंभ कहा जाता है। यह कुंभ योगी और मोदी सरकार के लिए कितना महत्वपूर्ण हो सकता है इसका अंदाजा आप इसी से लगा सकते हैं कि इस बार के अर्धकुंभ को योगी सरकार ने कुंभ में परिवर्तित कर दिया। इस कुंभ को सरकार 2019 के लोकसभा चुनाव से जोड़कर भी देख रही है। इसमें कोई शक नहीं है कि कुंभ की तैयारी में पूरी योगी सरकार पिछले एक साल से लगी है। दुनिया के इस सबसे बड़े मेले की हर लेबल पर ब्रांडिग की जा रही है। तकरीबन 15 हजार करोड़ रुपए इस बार के मेले का बजट है। पूरा इलाहाबाद यानी प्रयागराज नाम के साथ ही बदल चुका है। भाजपा सरकार ये बेहतर तरीके से जानती है कि चुनाव से चंद महीने पहले होने वाले इस कुंभ पर दुनिया की नजर रहती है। लिहाजा धर्म के रास्ते विकास का मॉडल दिखाने का ये सबसे बड़ा जरिया हो सकता है